दुनिया की 5 सबसे ताकतवर खुफिया एजेंसी

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दुनिया की 5 सबसे ताकतवर खुफिया एजेंसी

 


Duniya Ki Sabse Takatvar Khufiya Agency : दुनिया के सभी देशों में दुश्मनों से ,आंतरिक और बाहरी खतरों से सुरक्षा के लिए खुफिया एजेंसी ( Intelligence Agencies ) लगी होती है ।  गुप्त रूप से दुश्मन के इरादे का पता लगाना और पकड़ना इनका काम होता है । खुफिया एजेंसी के काम करने का तरीका अलग होता है । ये सीक्रेट तरीके से अपना काम करती है और किसी को भनक भी नहीं लगता है । दुनिया में कुछ प्रमुख सबसे ताकतवर खुफिया एजेंसी है । जिनके कारनामे को दुनिया भी सलाम करती है ।

किसी भी देश की खुफिया एजेंसियां देश की सैन्य सुरक्षा , विदेश नीति और दूसरे देशों से होने वाले रणनीति या साजिश की सही जानकारी इकट्ठा करती है और उसको उजागर करती है । आतंकवादी गतिविधियों से लेकर साइबर क्राइम तक की सूचना सरकार को सौंपती है । इन एजेंसियों की नजर हर समय ऐसी गतिविधियों पर पड़ी रहती है जहां देश की सुरक्षा के लिए खतरे की संभावना होती है ।

दुनिया की सबसे ताकतवर खुफिया एजेंसी

khufiya agencies


1 -सीआईए ( सेंट्रल इंटेलिजेंस एजेंसी )

central intelligence agency


अमेरिका की सीआईए दुनिया की सबसे ताकतवर खुफिया एजेंसी मानी जाती है । इसकी स्थापना सन् 1947 में वर्जिनिया में किया गया था। सीआईए के एजेंट को कुशल और उन्नत तकनीकी की ट्रेनिंग दी जाती है । जिससे ये सबसे खतरनाक मिशन को भी आसानी से सफल बना लेते है । इनका काम विदेशी खुफिया जानकारी को इकट्ठा करना , साइबर सुरक्षा और आतंकवाद रोकथाम जैसे गुप्त अभियान पर काम करना होता है ।
सीआईए के एजेंट अपना टारगेट चुनने के बाद , अपने मिशन को सफल बनाने के लिए  उस मिशन पर वर्षों तक खुफिया तरीके से काम करते रहते है और जानकारियां इकट्ठा करते है । इस खुफिया एजेंसी ने बहुत से मिशन पर काम किया है और सफलता हासिल किया है । चाहे वो ऑपरेशन नेप्च्यून स्पीयर जिसमें ओसामा बिन लादेन का पता लगाकर मारना या ईरान में  ऑपरेशन अजाक्स जैसे मिशन को पूरा कर दुनिया में अपना डंका बजवाया है ।

2 - मोसाद

mossad


मोसाद , इजरायल की की बेहद ही ताकतवर खुफिया एजेंसी है । मोसाद की स्थापना तेल अबीब में 13 दिसंबर 1949 में किया गया था । यह सुरक्षा एजेंसी विदेशों से खुफिया जानकारी इकट्ठा करना , खुफिया मिशन  और स्पेशल ऑपरेशंस चलाकर बहुत ही सटीकता से अपने दुश्मनों का पता लगाती है ।
मोसाद के एजेंट दुनिया भर में फैले हुए है । और जो अपने राष्ट्रहित के लिए किसी भी आतंकवादी गतिविधिया हो या जिससे देश की आर्थिक , मानवता पर खतरे को अपने स्ट्रांग नेटवर्क से पता लगा लेते है और उसे फेल कर देते है ।
यह खुफिया एजेंसी तकनीकी रूप से इतना माहिर है कि दुश्मनों की कितना भी सटीक और खुफिया चाल हो , मोसाद के पकड़ में आ जाते है और उन्हें यह खत्म कर देती है । मोसाद खुफिया एजेंसी ने कई बड़े ऑपरेशन को सटीक रणनीति से अंजाम दिया है जिसमें ऑपरेशन थंडरबोल्ट, ऑपरेट ब्रदर तथा ऑपरेशन डायमंड मुख्य है । अभी हाल की कुछ सालों में लेबनान और सीरिया में पेजर व वॉकी-टॉकी अटैक करके मोसाद ने दुनिया को दिखा दिया कि , वह अपने दुश्मन को कभी भी और किसी भी देश में , किसी भी तरह खत्म कर सकता है ।

3 - एमआई - 6 ( मिलिट्री इंटेलिजेंस सेक्शन )

military intelligence section 6


एमआई - 6 यूनाइटेड किंगडम की सबसे  ताकतवर और दुनिया की सबसे पुरानी खुफिया एजेंसी है । जिसकी स्थापना 1909 में लंदन में किया गया था । जिसे सीक्रेट इंटेलिजेंस सर्विस (SIS) के नाम से भी जाना जाता है । यह खुफिया संस्था  साइबर हमला , आतंकी गतिविधियों को रोकना तथा विदेशों से खुफिया जानकारी निकलना और ब्रिटेन सरकार को सौंपना इनका काम होता है ।
ब्रिटिश खुफिया एजेंसी ज्यादातर अपने मित्र देश के साथ मिलकर काम करती है । सन्  1946 में अमेरिका और ब्रिटेन का एक समझौता हुआ , जिसमें दोनों देश साथ मिलकर वैश्विक सुरक्षा , सिग्नल इंटेलिजेंस तथा और भी गोपनीय जानकारी आपस में साझा करेंगे ।
अब ब्रिटिश इंटेलीजेंस एजेंसी फाइव आईज़ अलायंस (Five Eyes Alliance) के साथ काम कर रही है । जिसमें अमेरिका , यूके , न्यूजीलैंड , ऑस्ट्रेलिया और कनाडा है ।
एमआई 6 के बारे कहा जाता है कि,  यह ब्रिटेन की वही खुफिया एजेंसी है । जो सन् 1976 में मोसाद के साथ में मिलकर युगांडा के एंतेबे हवाई अड्डे पर , आतंकवादियों द्वारा बंधक बनाए गए इजरायल बंधकों को छुड़ाने के लिए ऑपरेशन में सहायता किया था । हालांकि इसकी आधिकारिक रूप से , कोई प्रत्यक्ष पुष्टि नहीं हुई है कि एमआई ने इस ऑपरेशन में मोसाद की सहायता की थी ।

4 - रॉ ( रिसर्च एंड एनालिसिसि विंग )

research and analysis wing


रॉ ( raw ) भारत की प्रमुख खुफिया एजेंसी है । रॉ की स्थापना सन् 1968 के दरम्यान किया गया था जिसका मुख्यालय नई दिल्ली में है।
दुनिया की सबसे ताकतवर खुफिया एजेंसी में से एक रॉ इंटेलीजेंस एजेंसी का काम , बाहरी देशों से खुफिया जानकारी निकालना, अपने देश की खुफिया जानकारी को बाहर जाने से रोकना , बाह्य देशों द्वारा बनने वाली रणनीतियां और गतिविधियों पर नजर रखना तथा आतंकवाद रोकथाम जैसे काम भारत की रॉ एजेंसियां करती है ।
रॉ अधिकारियों की एक स्पेशल ट्रेनिंग होती है । जिन्हें किसी देश में मिशन के दौरान किस तरह से घुसपैठ करना ,  बचाव करना , खुफिया जानकारी निकलवाना और किस तरह अपना मिशन पूरा करना है के साथ साथ  अन्य कठिन पैंतरा भी सिखाया जाता है ।
रॉ ने देश हित में बहुत से काम किए है जिनमें ऑपरेशन चाणक्य , ऑपरेशन कैक्टस , ऑपरेशन मेघदूत तथा 1971 में बांग्लादेश के निर्माण में रॉ की अहम भूमिका थी ।

5 - एफएसबी ( फेडरल सिक्योरिटी सर्विस )

federal security service


एफएसबी रूस और दुनिया की सबसे ताकतवर एजेंसी में से एक है । इसकी स्थापना मास्को में सन् 1995 किया गया था । रूस की इस सीक्रेट एजेंसी को पहले केजीबी के नाम से जाना जाता था जिसे बदलकर कर एफएसबी नाम दिया गया । यह विदेशी खुफिया निगरानी के साथ साथ अपने देश के घरेलू , आर्थिक और राजनेताओं की भी देखभाल करती है । शत्रु देश में घुसकर वहां स्पेशल टेक्नीक से खुफिया जानकारी इकट्ठा करना होता है ।

आपको बता दे कि यह एजेंसी सीमा सुरक्षा से लेकर समुद्री तट और अपने प्राकृतिक संसाधनों की भी देखभाल करती है ।
रूसिया खुफिया एजेंसी पर कई विवादास्पद आरोप भी लगे है कि, एफएसबी अधिकारी विदेशों में घुसपैठ कर वहां के गुप्त जानकारियां को निकलना , जासूसी करना तथा किसी भी तरह से वहां की नीतियों को विफल कराना होता है । एफएसबी के अधिकारी अपने काम में इतने एक्सपर्ट होते है   किसी को जानकारी भी नहीं होता है कि किसने और कैसे किया है ।
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